‘महाकुंभ में भगदड़ को लेकर बुलाई जाए सर्वदलीय बैठक, छिपाए जा रहे मरने वालों के आंकड़े’, संसद में बोले अखिलेश यादव

संसद के बजट सत्र पर समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने महाकुंभ भगदड़ को लेकर सर्वदलीय बैठक बुलाए जाने की मांग की है। साथ ही उन्होंने भगदड़ के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई किए जाने की मांग की है।

संसद के बजट सत्र पर समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने महाकुंभ में हुई भगदड़ को लेकर योगी सरकार पर निशाना साधा है। अखिलेश यादव ने महाकुंभ में हुई भगदड़ को लेकर सर्वदलीय बैठक बुलाए जाने की मांग की है। समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने सदन में कहा, ‘सरकार लगातार बजट के आंकड़े दे रही है, लेकिन महाकुंभ में मरने वालों के आंकड़े भी दे। मेरी मांग है कि महाकुंभ की व्यवस्थाओं को स्पष्ट करने के लिए सर्वदलीय बैठक बुलाई जाए। महाकुंभ आपदा प्रबंधन और खोया-पाया केंद्र की जिम्मेदारी सेना को दी जाए।’

जिम्मेदार लोगों के खिलाफ हो सख्त कार्रवाई

अखिलेश यादव ने कहा, ‘महाकुंभ हादसे में हुई मौतें, घायलों के इलाज, दवाइयों, डॉक्टरों, भोजन, पानी, परिवहन की उपलब्धता के आंकड़े संसद में पेश किए जाएं। महाकुंभ त्रासदी के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त सख्त कार्रवाई हो और सच्चाई छिपाने वालों को सजा मिले। हम डबल इंजन सरकार से पूछते हैं कि अगर कोई दोष नहीं था तो आंकड़े क्यों दबाए गए, छिपाए गए और मिटाए गए?’

खोया-पाया केंद्र से भी नहीं मिल रही मदद

सपा अध्यक्ष ने कहा कि महाकुंभ स्थल में बना खोया-पाया केंद्र भी लोगों की तलाश नहीं कर पा रहा है। खोया-पाया केंद्र से भी कोई मदद नहीं मिल रही है। संसद में अखिलेश यादव ने कहा कि भगदड़ में मारे गए लोगों के लिए सदन में दो मिनट का मौन होना चाहिए।

JCB की मदद से हादसे वाले जगह पर मिटाए गए सबूत

सपा प्रमुख ने कहा कि हादसे में कई लोगों के मरने के बाद हेलिकॉप्टर से पुष्प वर्षा की जा रही थी। यह कैसी सनातनी परंपरा है? जेसीबी की मदद से हादसे वाली जगह के सबूत मिटाए गए हैं। अखिलेश यादव ने कहा, ‘हादसे वाली जगह पर भगवान जाने कितने चप्पल, कपड़े और साड़ियां पड़ी थीं। उन सबको जेसीबी मशीन और ट्रैक्टर ट्रॉली से उठवाया गया। कोई नहीं जानता कि उन्हें कहां फेंका गया? सब कुछ छुपाने के लिए किया गया है।’

निश्चचित मुहूर्त में नहीं हुआ शाही स्नान

अखिलेश यादव ने कहा कि महाकुंभ में निश्चचित मुहूर्त में शाही स्नान (अमृत स्नान) नहीं हो पाया है। बीजेपी सरकार में शाही स्नान की परंपरा भी टूटी है। पुण्य कमाने आए लोग अपने परिजनों के शव लेकर यहां से गए हैं। इसके साथ ही सदन में अखिलेश यादव ने जातीय जनगणना कराई जाने की मांग भी रखी है।

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